मस्जिद में घुस कर शरपसंदों ने किया इमाम मस्जिद का कत्ल, रजा फाउंडेशन ने की हादसे की मजम्मत

शव्वाल -1445 हिजरी

हदीस-ए-नबवी ﷺ

'' जब तुम अपने घर वालों के पास जाओ तो उन्हें सलाम करो। 
इससे तुम पर और तुम्हारे घर वालों पर बरकतें नाजिल होंगी। ''

- तिरमिजी शरीफी

-----------------------------------------

मस्जिद में घुस कर शरपसंदों ने किया इमाम मस्जिद का कत्ल, रजा फाउंडेशन की हादसे की मजम्मत

✅  अजमेर : आईएनएस, इंडिया

हफ़्ता (सनीचर) के रोज़ अलस्सुबह राजस्थान में अजमेर के रामगंज थाना इलाक़े में वाके एक मस्जिद में घुसकर इमाम कुछ शर पसंदों ने इमाम मस्जिद को कत्ल कर दिया। पुलिस ज़राइआ के मुताबिक़ सुबह तक़रीबन तीन बजे ख़ान पूरा, कंचन नगर में वाके मुहम्मदी मदीना मस्जिद में तीन नकाबपोश बदमाश दाख़िल हुए और इमाम मस्जिद मौलाना मुहम्मद माहिर को लाठियों से पीट-पीट कर हलाक कर दिया। 

    वाक़िया के वक़्त मौलाना के साथ मदरसे में पढ़ने वाले पाँच-छः बच्चे भी मौजूद थे जिन्हें हमला आवरों ने डरा धमका कर वहां से बाहर कर दिया। वाक़िया की इत्तिला मिलते ही पुलिस की टीम मौक़ा पर पहुंची और तफ्तीश शुरू कर दी। पुलिस ने मौलाना मुहम्मद माहिर की लाश को जवाहर लाल नेहरू अस्पताल के मुर्दा-ख़ाना में रखवा दिया है। रामगंज थाने के अफ़्सर रविन्द्र सीसीटीवी फूटेज खंगालने में मसरूफ़ हैं ताकि हमला आवरों के बारे में सुराग़ मिल सके। 

    मुहम्मद माहिर (52) जो उतर प्रदेश के रामपूर के रहने वाले हैं, गुतकश्ता सात साल से यहां दर्स-ओ-तदरीस के फ़राइज़ अंजाम दे रहे थे। गुजिश्ता साल अक्तूबर में मस्जिद के इमाम की वफ़ात के बाद मौलाना मुहम्मद माहिर इमामत की ज़िम्मेदारी भी अदा कर रहे थे। मुआमले की जांच कर रहे रामगंज थाने के इंचार्ज रवींद्र सिंह खीगी ने बताया कि पड़ोसियों से पूछताछ में ये बात सामने आई कि उतर प्रदेश के रामपूर इलाक़े के माहिर 7 साल पहले यहां आकर रिहायश पज़ीर थे। वो यहां बच्चों को पढ़ाया करते थे। मौलाना का ख़ानदान राम पूर में रहता है। यहां वो एक दर्जन से ज़ाइद बच्चों के साथ मस्जिद में रहते थे। 

👉 इसराईल ने मस्जिद अकसा में नमाज़ियों पर बरसाए गैस बम, कई नमाज़ी ज़ख़मी
👉 दौरान-ए-नमाज़ मस्जिद में नमाज़ियों पर चाक़ू से हमला, चार नमाज़ी ज़ख़मी
👉 फज्र की नमाज अदा कर रहे नमाजियों पर हमला, अधाधुंध फायरिंग से दर्जनों नमाजी शहीद
👉 बलवाइयों ने किया मस्जिद पर धावा, इमाम मस्जिद ने भाग कर बचाई जान

    मस्जिद के सरबराह मौलाना ज़ाकिर हुसैन की 28 अक्तूबर को अलालत के बाइस इंतिक़ाल होने के बाद मुहम्मद माहिर को 6 माह क़बल सरबराह मौलाना की ज़िम्मेदारी सौंपी गई थी। कत्ल की वजह फिलहाल पता नहीं चल पाई है। 

रज़ा यूनिटी फाउंडेशन ने की मजम्मत 

मस्जिद में घुस कर शरपसंदों ने किया इमाम मस्जिद का कत्ल, रजा फाउंडेशन की हादसे की मजम्मत

रायपुर :
रजा यूनिटी फाउंडेशन, ज़िला सरगुजा ने अहम मीटिंग बुलाकर मजहबी रहनुमाओं के साथ पेश आ रहे वाकेआत की मजम्मत की। इस दौरान उन्होंने मुल्क भर में मजहबी रहनुमाओं की हिफाज़त के लिए मुहिम चलाने का एआदा किया। इसके लिए रज़ा यूनिटी फाउंडेशन की जानिब से टोल फ्री नंबर जारी करने की बात कही गई। फाउंडेशन ने मौजूदा हालात के मद्दे नज़र कमेटियों से अपने आसपास के सभी मजहबी मुकामात पर कैमेरे नसब करवाने की अपील की।       
मीटिंग में मौजूद अहलकारों ने साबिक हादसों का भी जिक्र किया। उन्होंने बताया कि 31 जुलाई 2023 को गुड़गाँव के सेक्टर-57 की मस्जिद के इमाम मौलाना साद की देर रात गोली मार कर हत्या कर दी गई थी। इससे पहले 25  फ़रवरी 2021 को समस्तीपुर के मुसरीघरारी थाने के गंगापुर में तकरीरी प्रोग्राम से लौट रहे मौलाना की गोली मारकर हत्या कर दी गई थी। इसी तरह तिनसुकिया, असम में 55 साला इमाम मौलाना तहज़ीब इस्लाम की मस्जिद के भीतर चाकू से गोदकर कत्ल कर दिया गया था। फाउंडेशन के अहलकारों ने सदर हिंद के नाम पर मेमोरेंडम सौंपने की जरूरत पर इत्तेफाक राय किया। मेमोरेंडम में हादसों की मजम्मत करते हुए मजहबी रहनुमाओं की हिफाजत के लिए ठोस कदम उठाने की मांग की जाएगी। 


👇👇👇

 For the latest updates of islam 

Please क्लिक to join our whatsapp group & Whatsappchannel


एक टिप्पणी भेजें

0 टिप्पणियाँ