Top News

नूह-मेवात तशद्दुद, मुस्लिम वकीलों ने खातून जज और उनकी मासूम बच्ची की बचाई जान

17 मुहर्रम-उल-हराम 1445 हिजरी
सनीचर, 5 अगस्त, 2023
-----------------------------
अकवाले जरीं
‘मेरी उम्मत में से सबसे पहले मेरे पास हौजे कौसर पर आने वाले वो होंगे जो मु्र­ासे और मेरे अहले बैत से मोहब्बत करने वाले हैं।’
-जामाह उल हदीस 

----------------------------------------------------------

वकीलों ने कहा, दंगाइयों को पहचानना मुश्किल, वो मुकामी थे ही नहीं

नूह : आईएनएस, इंडिया 

हरियाणा के नूह-मेवात में ब्रिज मंडल जल अभिषेक यात्रा के बाद भड़काई गई फिरकापरस्त तशद्दुद की आग के बाद लोगों पर हमला करने और गाड़ियों को नजर-ए-आतिश करने के कई वाकियात रौनुमा हुए। इसी दौरान नूह की एडीशनल चीफ जूडीशल मजिस्ट्रेट की गाड़ी पर भी हमला किया गया। 
Nuh-Mewat Tashaddud, Muslim lawyers saved the lives of Khatoon Judge and her innocent child
- Image google

    वकीलों के एक ग्रुप ने अपनी जान पर खेल कर उन्हें वहां से बहिफाजत निकाला, ताहम हुजूम ने जज की गाड़ी नजर-ए-आतिश कर दी। नूह में वकालत करने वाले मुहम्मद मुजीब और रमजान चौधरी वकील के उस ग्रुप का हिस्सा थे, जिन्होंने खातून जज को तशद्दुद जदा (हिंसाग्रस्त) इलाके से बहिफाजत बाहर निकाला। दोनों का ही कहना था कि अजीब बात ये है कि तशद्दुद पर आमादा लोग बाहरी थे और वो उनमें से किसी को भी नहीं पहचानते, ना ही हुजूम में शामिल लोग उन वकीलों को पहचानते थे। 
    उनका कहना था कि मेवात मुस्लिम बहुल इलाका है और यहां अगर जज साहिबा को कुछ हो जाता तो इलाका की बड़ी बदनामी होती, यही वजह है कि उन्होंने अपनी जान पर खेल कर जज की जान बचाई। एडवोकेट मुहम्मद मुजीब, जो नूह में गुजिश्ता तकरीबन 30 सालों से वकालत कर रहे हैं, ने कहा कि सेशन जज की तरफ से काल आई थी कि एसीजेएम तशद्दुद जदा इलाका में फंस गई हैं, उन्हें किसी तरह वहां से बाहर निकालें। हम कई वकीलों का ग्रुप, जिसमें रमजान चौधरी, तारिक मुजीब, शुऐब मुजीब, मुहम्मद ताहिर, जाकिर हुसैन, हारून खान, पण्डित दिनेश और सोमदत्त शर्मा वगैरा शामिल थे, मौका की तरफ रवाना हुए। जज नलहड़ में वाके अस्पताल में अपनी 3 साला बच्ची का तिब्बी मुआइना कराने के बाद लौट रही थीं। पथराव और आगजनी के पेश-ए-नजर उन्होंने पूंहाना बस स्टैंड पर वाके वर्कशॉप में पनाह ली हुई थी। वकीलों का ग्रुप किसी तरह जज तक पहुंचा और उन्हें वर्कशॉप से बाहर निकाला। 
    उन्होंने बताया कि वकीलों ने जज से कहा घबराएँ नहीं, ये इलाका हिंदू-मुस्लमान यकजहती के लिए जाना जाता है, और हम आपको कुछ नहीं होने देंगे, भीड़ को हम तक पहुंचने के लिए हमारी लाशों से गुजरना होगा। उन्होंने बताया कि उसके बाद वो जज और उनकी बच्ची को अपने घर ले गए और दो घंटे तक उन्हें अपने यहां पर रखा। वहीं एडवोकेट रमजान चौधरी ने कहा कि जब वो कार से जा रहे थे तो भीड़ ने उन्हें रोका था। यहां तक कि कार पर लाठी डंडे भी चलाए। हमने उन्हें समझाया और हालात से आगाह किया। उन्होंने कहा कि इलाका मेवात में काफी वक़्त से फसादाद भड़काने की कोशिशें की जा रही थीं। आखिरकार तखरीबकारी कुव्वतें अपने मन्सूबों में कामयाब हो गईं। 
    उन्होंने कहा कि यात्रा से कब्ल कुछ लोगों ने सोशल मीडीया पर वीडीयो डाल कर लोगों को मुश्तइल किया, उन्होंने भड़काया और मेवात के चंद लोग भड़क गए, बस इसी वजह से फसादाद बरपा हो गए। पुलिस की यकतरफा कार्रवाई के सवाल पर रमजान चौधरी ने कहा कि पुलिस बड़े पैमाने पर छापामार रही है और कई बेकसूरों को भी गिरफ़्तार किया जा रहा है, कुछ को पूछगिछ के बाद छोड़ा भी जा रहा है। इलाका के मोअज्जिजीन इंतिजामीया से दरखास्त कर रहे हैं कि जो कसूरवार हो, उसी पर कार्रवाई की जाए और बेकसूरों को परेशान ना किया जाए। 

Must Read

    ख़्याल रहे कि नूह सिटी पुलिस स्टेशन में दर्ज की गई एफआईआर में बताया गया कि हमलाआवरों ने पीर को एसीजेएम की गाड़ी पर पथराव किया और फायरिंग की जिसकी वजह से उन्हें और उनकी बेटी को जान बचा कर भागना पड़ा। जज, उनकी बेटी और अमले को नूह के पूंहाना बस स्टैंड पर वाके एक वर्कशॉप में पनाह लेनी पड़ी, जहां से बाद में कुछ वकीलों ने उन्हें बचाया। नूह एसीजेएम की अदालत में टेकचंद की शिकायत पर नामालूम अफराद के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई है, जो अदालत में ही काम करते हैं। एफआईआर के मुताबिक एसीजेएम, उनकी तीन साला बेटी और मुहाफिज सियाराम पीर को दोपहर एक बजे के करीब अपनी वाक्स वैगन कार में दवा लेने के लिए नलहड़ के मेडीकल कॉलेज गए थे। दोपहर दो बजे के करीब, जब वो मेडीकल कॉलेज से वापस आ रही थीं, दिल्ली-अलवर रोड पर पूंहाना स्टैंड के करीब तकरीबन डेढ़ सौ फसादियों ने उन पर हमला कर दिया।

रूहानी इलाज
किसी शख़्स पर कोई बड़ी मुसीबत आन पड़ी हो, और वह किसी तरीके से टल नहीं रही हो, उसे चाहिए बाद नमाजे जोहर 450 मर्तबा ‘हस्बुनल्लाहु व नेअ़मल वकील’ (अव्वल-आखिर 100-100 बार दुरूदे पाक के साथ) पढ़कर मुसीबत दूर होने की दुआ करे। इन्शा अल्लाह जल्द ही मुसीबत से छुटकारा मिल जाएगा। यह अमल 41 दिन करना है।


Post a Comment

if you have any suggetion, please write me

और नया पुराने