शअबान उल मोअज्जम-1445 हिजरी
हदीसे नबवी सल्लल्लाहो अलैहे वसल्लम
'' हजरत अबुदर्दा रदि अल्लाहो ताअला अन्हु फरमाते हैं कि जिसने अपने भाई को सबके सामने नसीहत की, उसने उसे जलील किया और जिसने तन्हाई में नसीहत की, उसने उसे संवार दिया। (तन्हाई की नसीहत ज्यादा असर करती है, हर शख्स उसे कबूल कर लेता है और उस पर अमल करने की कोशिश करता है। और जाहिर है कि अमल करने से वह संवर जाएगा। ''-----------------------------
गवर्नर से मिला छत्तीसगढ़ मुस्लिम समाज का वफद
✅ नई तहरीक : रायपुर
छत्तीसगढ़ मुस्लिम समाज का वफद (डेलीगेशन) गुजिश्ता रोज गवर्नर बिश्व भूषण हरिचंदन से मुलकात कर रियासत में अकलीयती बिरादरी पर हो रहे मजालिम से मतला कराते हुए मुजरिमों के खिलाफ मुनासिब कार्रवाई करने का मुतालबा किया। चर्चा के दौरान वफद ने गवर्नर जनाब हरिचंदन को रमज़ान में इफ्तार के लिए मदउ (आमंत्रित) किया।खुशगवार माहौल में हुई बातचीत के दौरान मुस्लिम समाज के वफद ने गवर्नर जनाब हरिचंदन से कहा कि अलग-अलग जगहों से आए मुख्तलिफ मजाहिब के लोग खुशहाल जिंदगी बसर कर रहे हैं। यह एक खुशहाल रियासत है और यहां के लोगों में भाईचारगी और बाहमी मोहब्बत का बोलबाला है। रियासत में मुस्लिम आबादी तकरीबन 3 फीसद है, जो खुसूसन बड़े शहरो, कस्बों और गांवों में मुकीम हैं।
माहौल बिगाड़ने की साजिश
मआशरे के वफद ने गवर्नर जनाब हरिचंदन को बताया कि पिछले कुछ दिनों से रियासत के खुशनुमा माहौल को बिगाड़ने की साजिश के तहत अकलीयती बिरादरी पर बेजा जुल्म ढाए जा रहे हैं। वफद ने तिल्दा, धमतरी और कवर्धा में पिछले कुछ दिनों के दौरान पेश आए हारसों की जानकारी देते हुए कहा कि मुस्लिम मआशरे के लोगों पर न सिर्फ जुल्म किया जा रहा है बल्कि बेकसूर होने के बावजूद मआशरे के नौजवानों को गिरफ्त में लिया जा रहा है। ताजी मिसाल दारुल हुकूमत (राजधानी) रायपुर के क़रीब वाके तिल्दा औद्योगिक नगरी में हुआ हादसा है जहां थाने के सामने 23 जनवरी 2024 को पुलिस की मौजूदगी में मुदर्रिस अजगर अली के साथ गैर समाजी अनासिरों ने मारपीट कर उन्हें लहूलुहान कर दिया था। सितम यह कि पुलिस ने मुजरिमों के खिलाफ कार्रववाई करने की बजाए मुदर्रिस को ही जेल भेज दिया गया।इसी तरह ग्राम भोथीडडीह, जिला धमतरी जो दारुल हुकूमत से तकरीब 70 किलोमीटर की दूरी पर वाके है, वहां के मदरसे में धमतरी समेत कुरूद व दीगर मुकाम से आए एक तंजीम के लोगों ने मंसूबाबंदी के तहत मदरसा और उसके बगल वाले मकान में तोडफोड की। यहां भी पुलिस ने शिकायत दर्ज कराए जाने के बावजूद कसूरवारों के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं की।
खुद की बनवाई बाउंड्रीवाल को भी नहीं बख्शा
अकलीयती बिरादरी खुसूसन मुस्लिम मआशरे के तंई नफरत का यह आलम है कि न सिर्फ उनके साथ मारपीट की जा रही है और नौजवानों को तशद्दुद (हिंसा) का निशाना बनाया जा रहा है, मआशरे के मजहबी मुकामात को भी नुकसान पहुंचाया जा रहा है। वफद ने गर्वनर जनाब हरिचंदन को बताया कि कवर्धा में मुस्लिम कब्रिस्तान की बाउंड्रीवाल, जिसकी ताअमीर की मंजूर अजखुद नगर पालिका परिषद ने ही दी थी, उसे तजावुजात (बेजा कब्जा) बताते हुए खुद ही तोड़वा दिया। मजे की बात यह कि बाउंड्रीवाल को बेजा कब्जा बताते हुए उसे जमींदोश करने का आदेश जारी करने वाले सीएमओ ने ही उसकी ताअमीर की मंजूर दी थी।रात में ही ले लिया रिमांड पर
वफद ने गवर्नर को बताया कि कवर्धा में गुजिश्ता बरस 23 दिसंबर को हुए साधुराम यादव कत्ल मामले में पुलिस ने मोबाईल लोकेशन की बिना पर 5 नौजवानों को गिरफ्तार देर रात उन्हें मजिस्ट्रेट के सामने पेश कर रिमाण्ड पर लेकर जेल भेज दिया गया। कत्ल जैसे मामले की संजीदगी से तहकीकात की जानी थी, जो नहीं की गई। सहाफियों के पूछने पर गोलमोल जवाब दिया गया।चर्चा के दौरान वफद ने उन्हें बताया कि सर्वसमाज कवर्धा की जानिब से 02 फरवरी 2024 को मीटिंग कर सीबीआई जाँच की माँग की गई है। कत्ल के मामले को लेकर 14 फरवरी 2024 को मुख्तलिफ हिंदू तंजीमों की जानिब से कवर्धा बंद की काल की गई थी।
मआशरे के वफद ने कत्ल के आरोप में जेल में बंद नौजवानों के खिलाफ दबाव में आकर आनन-फा-आनन 18 फरवरी को यूएपीए लगाए जाने की जानकारी देते हुए गुजारिश की कि मजकूरा (उक्त) मशकूक (संदेहास्पद) मामले की हाई लेवल जाँच हो, इसके अलावा अकलीयती बिरादरी की जानिब से दर्ज कराई गई शिकायतों को संजीदगी से लेते हुए पुलिस को मुनासिब कार्रवाई करने का हुक्म सादिर करें ताकि क़ानून को हाथ में लेने वाले अनासिर (तत्वों) को सबक़ मिल सके और मुतास्सिरों को इंसाफ मिले।
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