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अमरीका : मुस्लमानों और यहूदी शहरियों के बीच टकराव, शिकागो के करीब एक मुस्लिम बच्चे का कत्ल

अमरीका : मुस्लमानों और यहूदी शहरियों के बीच टकराव, शिकागो के करीब एक मुस्लिम बच्चे का कत्ल

न्यूयार्क : आईएनएस, इंडिया

इसराईल में हम्मास के वहशियाना हमलों के बाद से एक हफ़्ते भीतर यहूदी और मुस्लिम कम्यूनिटीज को न सिर्फ निशाना बनाया जा रहा है बल्कि एक-दूसरे को धमकी भी दी जा रही है। अमरीका के तहकीकाती इदारे एफबीआई के डायरेक्टर ने गुजिश्ता इतवार सहाफियों को बताया कि एफबीआई दोनो कम्यूनिटी के बीच टकराव के बढ़ते खदशे को कम करने के लिए तेजी से काम कर रही है।
    खबरों के मुताबिक गुजिश्ता इतवार को एक 71 साल सफेद फाम शख़्स को मुस्लमान बच्चे के कत्ल के शक में गिरफ़्तार किया गया है। इस हमले में बच्चे की वालिदा शदीद जखमी हो गईं है। मुल्जिम पर नफरत पर मबनी जुर्म का इल्जाम आइद किया गया है। मुल्जिम पर इल्जाम है कि उन्होंने माँ बेटे पर उनके मजहब और इसराईल-हम्मास जंग की वजह से हमला किया। पुलिस के मुताबिक उन्हें अमरीकी शहर शिकागो के नवाह में वाके कस्बे के एक घर में 32 साला खातून और उनका छ: साला बच्चा जखमी हालत में मिले। 
    अहलकार (अधिकारी) ने सोशल मीडीया पर एक बयान में बताया कि हस्पताल पहुंचने पर डाक्टरों ने बच्चे की मौत की हो चुकी थी। जबकि वालिदा को छुरी के कई वारों से जखमी किया गया है लेकिन उनके बचने की उम्मीद है। बच्चे के पोस्टमार्टम से जाहिर होता है कि उसे भी छुरे के कई वार किए गए। अहलकार के बयान के मुताबिक तफतीश के दौरान ये इन्किशाफ (खुलासा) हुआ है कि मां-बेटे को उनकी मजहबी शिनाख़्त और मशरिक-वुसता (मध्य-पूर्व) में जारी तनाजे की वजह से निशाना बनाया गया। मामले की जानकारी खातून ने 911 पर काल कर दी थी। खातून ने बताया कि उनके मालिक मकान ने उन पर छुरी से हमला किया है। खातून ने बताया कि वो भाग कर बाथरूम में चली गईं और हमला-आवर का मुकाबला करती रही। 
    मुश्तबा शख़्स (संदिग्ध) इतवार के रोज उसी घर के ड्राईव-वे पर पाया गया। पुलिस के मुताबिक गिरफ़्तारी के वक़्त मुल्जिम की पेशानी पर कट का निशान भी पाया गया। पुलिस ने उसे गिरफ्तार कर लिया। उस पर कतल के इल्जामात आइद किए गए हैं। हुक्काम ने जखमी वालिदा और उनके बेटे के नाम पोशीदा रखे हैं। काउंसिल आफ अमरीकन इस्लामिक रिेलेशन्ज के शिकागो आॅफिस ने इतवार की शाम खातून के खानदान के एक रुकन के साथ प्रेस कान्फ्रेंस में बताया कि खातून के खानदान के अरकान ने ऐसे टेक्स्ट मैसेज दिखाए हैं, जिनमें मुस्लमानों से मुताल्लिक सख़्त जबान इस्तिमाल की गई है। अमरीका की मुस्लिम सिविल लिबर्टीज आर्गेनाईजेशन ने इस जुर्म को डरावने खाब से ताबीर किया है और बताया कि ये जुर्म हम्मास-इसराईल जंग के बाद से शुरू होने वाला निहायत ही शर्मनाक नफरत है।
    खबरों के मुताबिक एफबीआई के एक अहलकार ने कहा कि इस बात से इंकार नहीं कि हम्मास और दीगर ग्रुप्स मशरिक-वुसता (मध्य-पूर्व) में तनाजआत (विवादों) का फायदा उठा कर अमरीका में हमले करने या हमलों की मंसूबा बंदी करने का कह सकते हैं। एफबीआई के एक सीनीयर अहलकार ने नाम जाहिर ना करने की शर्त पर बताया कि ज्यादातर धमकियां काबिल-ए-एतिबार नहीं है। लेकिन एफबीआई इसके बावजूद इन धमकियों को संजीदगी से ले रही है। 

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