नई दिल्ली : आईएनएस, इंडिया
सनीचर को हम्मास के इसराईल पर हमले के बाद सोशल मीडीया पर हिन्दुस्तानी मुस्लमानों के फलस्तीन की हिमायत करने पर बेहस छिड़ गई है। उसी दौरान मुस्लिम आईएएस अफ़्सर शाह फैसल ने कहा कि इन्सानियत, मजहब से बालातर है। चूँकि दहश्तगर्दी ने कभी किसी की मदद नहीं की, इसलिए इससे फलस्तीन की भी मदद नहीं होगी।
मशहूर ब्यूरोक्रेट ने टवीटर पर पोस्ट किया कि हिन्दुस्तानी मुस्लमानों ने मशरिक वुसता (मध्य पूर्व) में बढ़ते तशद्दुद की कभी हिमायत नहीं की। आज हम्मास के हाथों मारे जानेवाले बेगुनाह ईसराईलीयों के हौलनाक मुनाजिर हर किसी का दिल तोड़ देते हैं। उनकी राय एक पोस्ट के हवाले से थी, जिसमें कहा गया था कि हिन्दुस्तानी मुसलमान वाजेह तौर पर फलस्तीन के साथ खड़े हैं, क्योंकि वो अपने वतन को इसराईली शैतानों से बचा रहे हैं। ये तबसरा आईएएस अफ़्सर शाह फैसल की तरफ से हिन्दुस्तानी मुस्लमानों के फलस्तीन की हिमायत करने के बारे में सोशल मीडीया पर जारी बेहस पर तबसरा करने के बाद आया है।
हिन्दोस्तान ने इसराईल में दहश्त गिरदाना हमले की मुजम्मत की है। मुलक उस वक़्त हैरत जदा रह गया, जब हम्मास के दहश्तगरदों ने हजारों राकेट फायर किए जिससे कम अज कम 300 अफराद हलाक और सैंकड़ों जखमी हुए। हमले के बाद इसराईल की जानिब से जवाबी कार्रवाई शुरू कर दी गई है और वजीर-ए-आजम बेंजामिन नेतन्याहू ने ऐलान जंग कर दिया है। हिन्दोस्तान ने इसराईल का स्ट्रैटजिक पार्टनर होने के नाते इस हमले की मुजम्मत की है। पीएम मोदी ने कहा कि हिन्दोस्तान इस मुश्किल वक़्त में इसराईल के साथ यकजहती के साथ खड़ा है। अमरीका और बर्तानिया ने भी दहश्त गिरदाना हमले की मुजम्मत की। सऊदी अरब, कतर और ईरान तनाजा में हम्मास की हिमायत करते नजर आए। पाकिस्तान और अफ़्गानिस्तान ने भी फलस्तीन की हिमायत का इजहार किया और दुश्मनी खत्म करने का मुतालिबा किया।
मकबूजा बैतुल-मुकद्दस : फलस्तीनीयों और इसराईल के दरमयान गुजशता दो रोज से जारी लड़ाई के दौरान पहली बार फलस्तीनी अस्करीयत पसंदों ने ग्लाईडर्ज का इस्तिमाल करके इसराईल पर कारी जरब लगाई है। इसराईली फौज और इंटेलीजेंस ये अंदाजा लगाने में नाकाम रहे। इन इंजनों का इसराईली फौजी सतह पर हिसाब नहीं लगाया गया, हालाँकि ये गलाईडर कदीम इंजनों से काम करते हैं। ये गलाईडर गजा की पट्टी से उड़ते हुए आसमान से सरहदों, चौकीयों और खारदार तारों को पार कर के इसराईली आबादी में दाखिल हो गए। ग्लाईडर एक ऐसे वक़्त में उड़ाए गए, जब दूसरी तरफ फलस्तीनी मुजाहमत कारों ने बड़े पैमाने पर राकेट दाग कर इसराईली फौज को एक नई परेशानी में डाल दिया था। ग्लाइडर्ज गजा की पट्टी के इर्द-गिर्द की बस्तीयों में गहराई में उतरे और जमीन पर मुसल्लह फलस्तीनीयों ने मोटरसाईकिलों के साथ सरहद पार करके उन्हें ज्वाइन कर लिया। मुसल्लह अफराद (हथियारबंद) ने जमीन पर इसराईली फौजी अड्डों का मुहासिरा किया और घरों और बैरकों पर धावा बोल दिया। सड़कों के बीच में इसराईली फौजीयों के साथ झड़पें हुईं, जिसके बाद फौजीयों समेत बड़ी तादाद में ईसराईलीयों को पकड़ लिया गया। जबकि इसराईली फौज के तर्जुमान का कहना था कि हम्मास के पास इसराईल के पास मौजूद सलाहीयतों और जराइआ का कोई मुवाजना (तुलना) नहीं कर सकता और इसकी उसे भारी कीमत चुकानी पड़ेगी। हफ़्ता की सुबह हम्मास के मुसल्लह विंग ने एक मुशतर्का (सााा) आॅप्रेशन किया जिसमें गजा की पट्टी से इसराईल में राकेट दागने और मुसल्लह अफराद की दरअंदाजी शामिल थी। जिसके नतीजे में 350 के करीब इसराईली मारे गए और दर्जनों ईसराईलीयों को गिरफ़्तार किया गया।
इस वाकिये ने 50 साल कबल अक्तूबर की जंग की याद ताजा कर दी। हमले के जवाब में इसराईल ने कल से शदीद फिजाई हमले किए हैं। इन तबाहकुन हमलों के नतीजे में गजा में तकरीबन 313 से जाइद फलस्तीनी जांबाहक हो गए। अगरचे इस अचानक हमले ने इसराईली इंटेलीजेंस की कारकर्दगी के बारे में बहुत से सवालात को जन्म दिया है। क्योंकि इसराईली इंटेलीजेंस इदारों को इसकी तवक़्को हरगिज नहीं थी कि हम्मास अचानक इस तरह का ताकतवर हमला करेगा।
सनीचर को हम्मास के इसराईल पर हमले के बाद सोशल मीडीया पर हिन्दुस्तानी मुस्लमानों के फलस्तीन की हिमायत करने पर बेहस छिड़ गई है। उसी दौरान मुस्लिम आईएएस अफ़्सर शाह फैसल ने कहा कि इन्सानियत, मजहब से बालातर है। चूँकि दहश्तगर्दी ने कभी किसी की मदद नहीं की, इसलिए इससे फलस्तीन की भी मदद नहीं होगी।
मशहूर ब्यूरोक्रेट ने टवीटर पर पोस्ट किया कि हिन्दुस्तानी मुस्लमानों ने मशरिक वुसता (मध्य पूर्व) में बढ़ते तशद्दुद की कभी हिमायत नहीं की। आज हम्मास के हाथों मारे जानेवाले बेगुनाह ईसराईलीयों के हौलनाक मुनाजिर हर किसी का दिल तोड़ देते हैं। उनकी राय एक पोस्ट के हवाले से थी, जिसमें कहा गया था कि हिन्दुस्तानी मुसलमान वाजेह तौर पर फलस्तीन के साथ खड़े हैं, क्योंकि वो अपने वतन को इसराईली शैतानों से बचा रहे हैं। ये तबसरा आईएएस अफ़्सर शाह फैसल की तरफ से हिन्दुस्तानी मुस्लमानों के फलस्तीन की हिमायत करने के बारे में सोशल मीडीया पर जारी बेहस पर तबसरा करने के बाद आया है।
हिन्दोस्तान ने इसराईल में दहश्त गिरदाना हमले की मुजम्मत की है। मुलक उस वक़्त हैरत जदा रह गया, जब हम्मास के दहश्तगरदों ने हजारों राकेट फायर किए जिससे कम अज कम 300 अफराद हलाक और सैंकड़ों जखमी हुए। हमले के बाद इसराईल की जानिब से जवाबी कार्रवाई शुरू कर दी गई है और वजीर-ए-आजम बेंजामिन नेतन्याहू ने ऐलान जंग कर दिया है। हिन्दोस्तान ने इसराईल का स्ट्रैटजिक पार्टनर होने के नाते इस हमले की मुजम्मत की है। पीएम मोदी ने कहा कि हिन्दोस्तान इस मुश्किल वक़्त में इसराईल के साथ यकजहती के साथ खड़ा है। अमरीका और बर्तानिया ने भी दहश्त गिरदाना हमले की मुजम्मत की। सऊदी अरब, कतर और ईरान तनाजा में हम्मास की हिमायत करते नजर आए। पाकिस्तान और अफ़्गानिस्तान ने भी फलस्तीन की हिमायत का इजहार किया और दुश्मनी खत्म करने का मुतालिबा किया।
पुराने इंजनों के साथ पैरा ग्लाईडर्ज ने गजा की पट्टी पर किए हमले
मकबूजा बैतुल-मुकद्दस : फलस्तीनीयों और इसराईल के दरमयान गुजशता दो रोज से जारी लड़ाई के दौरान पहली बार फलस्तीनी अस्करीयत पसंदों ने ग्लाईडर्ज का इस्तिमाल करके इसराईल पर कारी जरब लगाई है। इसराईली फौज और इंटेलीजेंस ये अंदाजा लगाने में नाकाम रहे। इन इंजनों का इसराईली फौजी सतह पर हिसाब नहीं लगाया गया, हालाँकि ये गलाईडर कदीम इंजनों से काम करते हैं। ये गलाईडर गजा की पट्टी से उड़ते हुए आसमान से सरहदों, चौकीयों और खारदार तारों को पार कर के इसराईली आबादी में दाखिल हो गए। ग्लाईडर एक ऐसे वक़्त में उड़ाए गए, जब दूसरी तरफ फलस्तीनी मुजाहमत कारों ने बड़े पैमाने पर राकेट दाग कर इसराईली फौज को एक नई परेशानी में डाल दिया था। ग्लाइडर्ज गजा की पट्टी के इर्द-गिर्द की बस्तीयों में गहराई में उतरे और जमीन पर मुसल्लह फलस्तीनीयों ने मोटरसाईकिलों के साथ सरहद पार करके उन्हें ज्वाइन कर लिया। मुसल्लह अफराद (हथियारबंद) ने जमीन पर इसराईली फौजी अड्डों का मुहासिरा किया और घरों और बैरकों पर धावा बोल दिया। सड़कों के बीच में इसराईली फौजीयों के साथ झड़पें हुईं, जिसके बाद फौजीयों समेत बड़ी तादाद में ईसराईलीयों को पकड़ लिया गया। जबकि इसराईली फौज के तर्जुमान का कहना था कि हम्मास के पास इसराईल के पास मौजूद सलाहीयतों और जराइआ का कोई मुवाजना (तुलना) नहीं कर सकता और इसकी उसे भारी कीमत चुकानी पड़ेगी। हफ़्ता की सुबह हम्मास के मुसल्लह विंग ने एक मुशतर्का (सााा) आॅप्रेशन किया जिसमें गजा की पट्टी से इसराईल में राकेट दागने और मुसल्लह अफराद की दरअंदाजी शामिल थी। जिसके नतीजे में 350 के करीब इसराईली मारे गए और दर्जनों ईसराईलीयों को गिरफ़्तार किया गया।
इस वाकिये ने 50 साल कबल अक्तूबर की जंग की याद ताजा कर दी। हमले के जवाब में इसराईल ने कल से शदीद फिजाई हमले किए हैं। इन तबाहकुन हमलों के नतीजे में गजा में तकरीबन 313 से जाइद फलस्तीनी जांबाहक हो गए। अगरचे इस अचानक हमले ने इसराईली इंटेलीजेंस की कारकर्दगी के बारे में बहुत से सवालात को जन्म दिया है। क्योंकि इसराईली इंटेलीजेंस इदारों को इसकी तवक़्को हरगिज नहीं थी कि हम्मास अचानक इस तरह का ताकतवर हमला करेगा।