दो साल तक मां की लाश को फ्रÞीजर में छुपाए रखा, बेटी गिरफ़्तार

शिकागो : आईएनएस, इंडिया 
अमरीका के शहर शिकागो की एक खातून अपनी वालिदा की लाश को तकरीबन दो साल तक फ्रÞीजर में रखने के इल्जाम में जेल में कैद हैं।
    अमरीकी खबररसां एजेंसी एसोसीएटड पे्रस के मुताबिक 69 साला इवा ब्रीचर जुमेरात को अपनी 96 साला माँ की मौत को छिपाने और जाली शनाखती कार्ड रखने के इल्जाम में अदालत में पेश हुईं। पुलिस ने बताया कि 'रेजीना माईकलसकी की लाश रवां हफ़्ते गैराज के एक फ्रÞीजर में उस अपार्टमंट के करीब मिली, जिसमें वो साथ रहती थीं। तफतीशकारों का ख़्याल है कि उनकी मौत मार्च 2021 में हुई थी। जज डेविड ने इवा ब्रीचर के लिए 20 हजार डालर का बांड मुकर्रर करते हुए कहा कि ये इल्जामात बहुत परेशानकुन हैं। 
    जज ने उन्हें जेल से निकालने के लिए कम बांड की दिफाई वकील की दरखास्त को मुस्तर्द कर दिया। शिकागो सन टाईम्स की रिपोर्ट के मुताबिक इवा ब्रीचर माजी में धोकादही के इल्जामात में सजा काट चुकी हैं। तफतीशकारों ने कहा कि वो इस बात का ताय्युन करने की कोशिश कर रहे हैं कि क्या ब्रीचर अपनी वालिदा के समाजी तहफ़्फुज के फवाइद हासिल करना चाहती थीं। केंटकी में रिहायश पजीर इवा ब्रीचर की बेटी ने अपनी दादी से राबिता मुनकते होने के बाद पुलिस से घर की जांच पड़ताल करने की दरखास्त की थी।

खुदकुशी पर आमादा मिसरी खातून को 10 साल से जंजीरों में जकड़ कर रखा गया

काहर : मिस्र में एक खानदान को अजीब-ओ-गरीब हालात का सामना है। इस खानदान में एक लड़की को नायाब बीमारी हो गई है जिसकी वजह से उसे खुद को मार डालने से बचाने के लिए जंजीरों में जकड़ दिया गया है। ये लड़की दस साल से जंजीर से बंधी हुई है। मिस्री मां ने उत्तरी मिस्र के शहर अलमतरीह में अपनी बेटी को लोहे की जंजीर से बाँधने के लिए अपने घर में इसलिए सहारा दिया कि वो दिमागी बीमारी में मुब्तला है, जिसकी वजह से वो बहुत ज्यादा हरकत करने लगती है और खुद को और दूसरों को मारने और नुक़्सान पहुंचाने की कोशिश करना शुरू कर देती है। लड़की की वालिदा खदीजा मुहम्मद ने बताया कि उनकी 18 साला बेटी को उसकी पैदाइश के कई साल बाद एक बीमारी लाहक हो गई है। तिब्बी मुआइने के बाद मालूम हुआ कि वो शदीद हाइपर एक्टीवीटी का शिकार हो गई है। उसने एक से ज्यादा बार खुदकुशी करने की कोशिश की। उसने दरिया-ए-नील में कूदने और घर की बालकोनी से छलांग लगाने की कोशिश कर रखी है। खदीजा मुहम्मद ने कहा अपनी बेटी को मौत से बचाने के लिए उसे लोहे की जंजीरों में जकड़ कर रखने का फैसला किया। जंजीर में बांध कर ही उसे खाना खिलाया जाता है। उसकी हालत काफी खराब है और उसने अपने भाईयों को मारने की भी कोशिश की थी। भाईयों को मारने की कोशिश करने के बाद उसने चीख-ओ-पुकार शुरू कर दी और फिर अपना सर दीवारों पर मारना शुरू कर दिया था।


रज्जबुल मुरज्जब 1444 हिजरी
फरवरी 2023
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