10 रमजान-उल मुबारक, 1444 हिजरी
इतवार, 1 अपै्रल, 2023
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मकबूजा बैतुल-मुकद्दस : आईएनएस, इंडिया
माह-ए-सियाम दसवीं शब तरावीह और इशा की नमाज में एक लाख 50 हजार फलस्तीनी नमाजियों ने नमाज तरावीह और रात की इबादत में शिरकत की। बैतुल-मुकद्दस, अंदरून फलस्तीन और मगरिबी किनारे के मुख़्तलिफ शहरों से बड़ी तादाद में फलस्तीनी नमाजी जुमा के रोज मस्जिद अकसा में दाखिल हुए।
माह-ए-सियाम दसवीं शब तरावीह और इशा की नमाज में एक लाख 50 हजार फलस्तीनी नमाजियों ने नमाज तरावीह और रात की इबादत में शिरकत की। बैतुल-मुकद्दस, अंदरून फलस्तीन और मगरिबी किनारे के मुख़्तलिफ शहरों से बड़ी तादाद में फलस्तीनी नमाजी जुमा के रोज मस्जिद अकसा में दाखिल हुए।
अंदरून फलस्तीन से बसों पर काफिला सैकड़ों नमाजियों को ले कर किबला अव्वल पहुंचा। ज्यादातर फलस्तीनी एलिना सिरा, तमरा, उम अलिफहम, अलंकब और दूसरे शहरों से आए। दूसरी तरफ इसराईली फौज की भारी नफरी ने शुमाली बैतुल-मुकद्दस के मुकाम पर जगह-जगह रुकावटें खड़ी करके फलस्तीनीयों को मस्जिद उकसा पहुंचने से रोकने की कोशिश की। इसराईली फौज की तरफ से उठाए गए इकदामात से चौकियों पर रश लग गया और फलस्तीनीयों को शदीद मुश्किलात का सामना करना पड़ा।
फलस्तीनी शहरीयों को किबला अव्वल में नमाज के लिए आने से रोकना इसराईल की मजहबी दहश्तगर्दी और फलस्तीनीयों के खिलाफ मजहबी जंग करार दी जाती है। काबिज हुक्काम फलस्तीनीयों को ना सिर्फ किबला अव्वल में नमाज की अदाई से रोकते हैं, बल्कि उन्हें मस्जिद अकसा में एतिकाफ से भी मना किया जाता है। कब्लअजीं जुमा की नमाज में अढ़ाई लाख फलस्तीनियों ने किबला अव्वल में बाजमाअत नमाज अदा की। फलस्तीनी शहरी इसराईली पुलिस की तरफ से खड़ी की गई तमाम रुकावटें तोड़ कर किबला अव्वल पहुंचे और माह-ए-सियाम के दूसरे जुमा की नमाज अदा की।