स्वरुपानंद महाविद्यालय में वार्षिक उत्सव उमंग का आयोजन
नई तहरीक : दुर्गरौशनी से सराबोर, रंग-बिरंगे परिधान पहने खुशी से खिलखिलाते चेहरे, कभी लोकनृत्य का परिधान तो कभी शास्त्रीय नृत्य का, तालियों की गढ़गढ़ाहट से गूंजता महाविद्यालय प्रांगण, मौका था, स्वामी श्री स्वरुपानंद सरस्वती महाविद्यालय, हुडको में आयोजित वार्षिक उत्सव ‘उमंग’ एवं पुरस्कार वितरण समारोह का। आयोजन के दौरान विद्यार्थियों ने मनभावन कार्यक्रम प्रस्तुत कर दर्शकों को मंत्रमुग्ध कर दिया। मुख्य अतिथि आईपी मिश्रा, चेयरमेन श्री गंगाजली शिक्षण समिति एवं विशेष अतिथि प्रोफेसर सदानंद शाही, कुलपति श्री शंकराचार्य प्रोफेशनल विश्वविद्यालय, जुनवानी, विशिष्ट अतिथि पीके. मिश्रा रजिस्ट्रार श्री शंकराचार्य प्रोफेशनल विश्वविद्यालय, जुनवानी एवं डॉ. दीपक शर्मा महाविद्यालय के मुख्य कार्यकारिणी अधिकारी, डॉ. मोनिषा शर्मा मुख्य कार्यकारिणी अधिकारी श्री शंकराचार्य कॉलेज आॅफ नर्सिंग, महाविद्यालय की संरक्षक सविता मिश्रा थीं। प्राचार्य डॉ. हंसा शुक्ला ने महाविद्यालय के विकास को रेखांकित करते हुए महाविद्यालय का प्रतिवेदन प्रस्तुत किया जिसमें उन्होंने शैक्षणिक एवं सहपाठ्यचर्चा गतिविधियों में महाविद्यालय की उपलब्धियों पर प्रकाश डाला। उन्होंने बताया कि 127 विद्यार्थियों से 2005 में प्रारंभ महाविद्यालय में आज 1359 विद्यार्थी हंै। महाविद्यालय में उपलब्ध संसाधनों की जानकारी देते हुए उन्होंने बताया महाविद्यालय में परीक्षा परिणाम शत प्रतिशत रहता है। 2020-21 व 2021-22 में 31 विद्यार्थियों ने हेमचंद यादव विश्वविद्यालय प्रावीण्य सूची में स्थान बनाया।
आयोजन को संबोधित करते हुए मुख्य अतिथि आईपी मिश्रा ने कहा, देवी भागवत में माता दुर्गा को सर्वशक्तिशाली देवी माना गया है। रामचरित मानस में राम को, महाभारत में कृष्ण को श्रेष्ठ माना गया है। ईश्वर पृथ्वी को चलाने वाली शक्ति है, पर यह शक्ति अलग-अलग लोग अलग मानते हैं। यह परमात्मा का अलग-अलग रुप है पर परमात्मा एक ही है।
उन्होंने शैक्षणिक गतिविधियों में पुरस्कृत विद्यार्थियों को बधाई दी व कहा जो विजयी नहीं हुए हैं, उन्हें और प्रयत्न करने की आवश्यकता है। उन्होंने बताया 27 विद्यार्थियों से यह महाविद्यालय प्रारंभ हुआ था। सतत प्रगति करते हुए आज 1 विश्वविद्यालय, 17 महाविद्यालय, मेडिकल कॉलेज व विद्यालय के रुप में प्रतिष्ठित है।
डॉ. दीपक शर्मा ने कहा, वार्षिक उत्सव आयोजन का मकसद विद्यार्थियों को शिक्षा के साथ ही कला और संस्कृति से भी जोड़ना है। इस तरह के कार्यक्रम से विद्यार्थियों के भीतर छिपी प्रतिभा को बाहर निकालने में मदद मिलती है। डॉ. मोनिषा शर्मा ने कहा, महाविद्यालय के अध्ययनरत विद्यार्थियों को विश्व स्तरीय शिक्षा देने हर संभव प्रयास किया जा रहा है।
इस अवसर पर प्रतिभावान छात्रों को प्रशस्ति पत्र एवं मेडल देकर सम्मानित किया। सम्मानित होने वाले स्टूडेंट्स में श्याम सुंदर पटनायक, वषभ वर्मा, प्रज्ञा साहू, अनिमेश अधिकारी, भूमिका साहू, आयेश खान, रितिका मंडल के अलावा शैक्षणिक व अशैक्षणिक गतिविधियों में उत्कृष्ट प्रदर्शन करने वाले विद्यार्थियों को पुरस्कृत किया गया।
स्टूडेंट्स ने दी सांस्कृतिक प्रस्तुति
रंगारंग कार्यक्रम की शुरुआत वंशिका शर्मा के प्रथम आराध्य देव गणेश वंदना से हुई। पेमेश्वरी, मधु साहू, रोमिका, डेजी एवं कोमल, ईशा अल्ती आदि की सांस्कृतिक प्रस्तुति ने लोगों को मंत्रमुग्ध कर दिया। इसके अलावा विद्यार्थियों द्वारा कॉलेज लाईफ को लेकर प्रेरणास्पद हास्य लघु नाटक प्रस्तुत करते ही दर्शकों के ठहाकों से दर्शक दीर्घा गंूज उठा। देर तक लोकनृत्य, फ्यूजन, रीमिक्स गानों की धुन पर बच्चे थिरकते रहे व दर्शकों की गड़गड़ाहट से दर्शक दीर्घा गुंजता रहा।मंच संचालन डॉ. शैलजा पवार, सहायक प्राध्यापक शिक्षा विभाग, डॉ. शमा ए बेग, विभागाध्यक्ष माईक्रोबायोलॉजी, हितेश साहू, सहायक प्राध्यापक अंग्रेजी व धन्यवाद ज्ञापन संयुक्ता पाढ़ी सहायक प्राध्यापक अंग्रेजी ने दिया।