जिल हज्ज, 1446 हिजरी
﷽
फरमाने रसूल ﷺ
"ऐसे शख्स की बददुआ से बचो जिस पर ज़ुल्म किया गया हो, इसलिए कि उसकी बददुआ और अल्लाह के दरमियान कोई आड़ नही होती।"
- तिर्मिज़ी
कौमी मुस्लिम मोर्चा व भारत मुक्ति मोर्चा के जेरे एहतेमाम मुल्कगीर जारी मुहिम के तहत गुजिश्ता दिनों जिला कलेक्टर, अजमेर को सदर के नाम मेमोरेंडम सौंपकर मुस्लिम मआशरे के खिलाफ जारी कार्ररवाईयों की शिकायत करते हुए इसपर फौरी तौर पर रोक लगाने का मुतालबा किया गया।
गौरतलब है कि मुल्कभर में मुस्लिम मआशरे के साथ माब लिंचिंग, मस्जिदों, मदरसों, ईदगाहों, दूकानों और मकानों में तोड़फोड़ जैसे वाकेआत में इजाफा देखा जा रहा है। इसके खिलाफ कौमी मुस्लिम मोर्चा व भारत मुक्ति मोर्चा की जानिब से इसे लेकर मुल्कगीर मुहिम चलाई जा रही है। इस जुमरे में मोर्चा के आला अहलकारों व कारकुनान की जानिब से गुजिश्ता दिनों अजमेर कलेक्टर के जरिये सदर हिंद के नाम मेमोरेंडम सौंपा गया। मेमोरेंडम में मोर्चा ने वक्फ बोर्ड कानून 2025 में गैर जरूरी बदलाव पर भी रोक लगाने की मांग की है।
मेमोरेंडम सौंपे जाने के दौरान कौमी मुस्लिम मोर्चा के जिला सदर रियाज़ अहमद मंसूरी, जिला इंचार्ज यासीन खान सिलावट, फरीद अहमद बंदुकिया, आरिफ हुसैन, एडवोकेट फरीद महाराज. मुस्तकीम मंसूरी, रईस मंसूरी, इमाम मंसूरी, मोहम्मद सब्बीर, मोहम्मद रफ़ीक उमर मंसूरी, राष्ट्रीय क्रिश्चियन मोर्चा के जिला संयोजक हस्ती नाजरीन, साजी मैथ्यूज, भारत मुक्ति मोर्चा के जिला सदर प्रेम सिंह खांट, राष्ट्रीय मूल निवासी पेंशनर्स संघ के रियासती सदर रामाकिशन बांशीवाल, जिला सदर निरंजन सिंह, बीएमपी रियासती नायब सदर पीपी सिंह उमरवाल, अर्जुन सिंह ज्योतियाना के अलावा कसीर तादाद में मोर्चा के अहलकार व कारकुनान मौजूद थे।