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फलीस्तीनियों के लिए दुआ के साथ महबूब-ए-इलाही हजरत निजाम उद्दीन औलिया के 720वें सालाना उर्स का हुआ आगाज

फलीस्तीनियों के लिए दुआ के साथ महबूब-ए-इलाही हजरत निजाम उद्दीन औलिया के 720वें सालाना उर्स का हुआ आगाज

नई दिल्ली : आईएनएस, इंडिया 

दिल्ली में वाके हजरत निजाम उद्दीन औलिया रहमतुल्लाह अल्लाह के 720वें सालाना उर्स के आगाज पर गजा के मासूम शुहदा, जखमी और मुतास्सरीन के लिए इजतिमाई दुआ की गई। साथ ही मशरिक वुसता (मध्य-पूर्व) में अमन की दुआओं के साथ मुल्क की तरक़्की और खुशहाली के लिए •ाी दुआएं मांगी गईं। तिलावत कुरआन के साथ फातिहा व दुआ की गई। इस दौरान जाइरीन की जबरदस्त •ाीड़ मौजूद थी। मुल्क और बैरून-ए-मुल्क के जाइरीन ने तिलावत कुरआन और दुआ में शिरकत की, जिसके बाद महफिल कव्वाली ने समां बाँधा। कव्वाली के जरीया सुल्तान उल-हिंद, हजरत निजाम उद्दीन औलिया रहमतुल्लाह अलैह की बारगाह में मनकबती कलाम पेश करके खिराज-ए-अकीदत पेश की गई। आखिर में लंगर और तबर्रुक तकसीम किया गया। 
    याद रहे कि इस साल •ाी मुल्क और दुनिया के कोने-कोने से जाइरीन और अकीदतमंद उर्स की तकरीबात में शिरकत कर रहे हैं, जबकि पाकिस्तान और बंगला देश समेत कई ममालिक से •ाी जाइरीन की आमद मुतवक़्के है। दरगाह हजरत निजाम उद्दीन औलिया रहमतुल्लाह अलैह के गद्दीनशीन काशिफ निजामी के मुताबिक इस साल •ाी पाकिस्तान से जाइरीन आए हैं जिनकी तादाद 130 के करीब है, जिनमें से बेशतर पहाड़ गंज की होटलों में कियाम किए हुए हैं। उन्होंने कहा कि बुध की शाम •ाी एक दस्ता दरगाह की जियारत के लिए आया था और ये सिलसिला अगले चंद दिनों तक जारी रहेगा। 
    हजरत निजाम उद्दीन औलिया रहमतुल्लाह अलैह का सालाना उर्स कमरी महीना रबी उस्सानी की 16 तारीख से शुरू हो कर पाँच दिन तक जारी रहता है। जिसके मुताबिक इस साल यक्म नवंबर से 5 नवंबर के दौरान उर्स की तमाम तकरीबात अंजाम दी जाएँगी। 
    यक्म नवंबर को कुरआन खवानी और नाअत खवानी से उर्स तकरीबात का बाजाब्ता आगाज हो गया है। जुमेरात को बड़ी रात के मौका पर रात आठ बजे तिलावत कुरआन के बाद साथ रौजा शरीफ में खुसूसी दुआ की जाएगी, फिर लंगर और तबर्रुक का एहतिमाम किया जाएगा, जबकि 3 नवंबर जुमे को सुबह ग्यारह बजे तिलावत कुरआन से आगाज होगा। इसके साथ बड़ी कुल, फातिहा खास और दुआइया मजलिस मुनाकिद होगी। उसके बाद लंगर और तबरुर्कात तकसीम किए जाएंगे। इसी तरह हफ़्ता को सुबह कुरआन खवानी के बाद पूरी दुनिया में अमन-ओ-अमान और खुशहाली की दुआएं मांगी जाएँगी। रात•ार कव्वाली होगी, जबकि इतवार को उर्स का इखतताम होगा। कव्वाली और दुआ के बाद शाम छ: बजे उर्स का इख्तेताम होगा। 


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