मोहम्मद हासम अली : अजमेर
मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड आफ इंडिया की जानिब से सूफी संत हजरत ख्वाजा गरीब नवाज रहमतुल्लाह अलैह की बारगाह में अकीदत की चादर पेश की गई।
इस मौके पर दरगाह के खादिम सैय्यद सुल्तान हसन मिस्बाही ने बोर्ड के आंध्र प्रदेश चेयरमेन ख्वाजा अल्ताफ रजा कादरी और उनके साथियों को दरगाह शरीफ की जियारत कराई। इस मौके पर ख्वाजा साहब की बारगाह में मुल्क में अम्न-ओ-अमान और तरक्की की दुआ मांगी गई। मीडिया से बात करते हुए आंध्र प्रदेश बोर्ड के चेयरमेन अल्ताफ रजा ने कहा कि वजीरे आजम नरेंद्र मोदी सबका साथ, सबका विकास की बात करते हैं, जो कुछ हद तक तो सही है। उन्होंने कहा, रेलवे के बाद मुल्क में सबसे जायद मिल्कियत वक्फ बोर्ड की है जिसके सही इस्तेमाल की जरूरत है। उन्होंने बताया कि 6 अप्रेल 2015 में पीएम नरेंद्र मोदी से अजमेर दरगाह के खादिम सैय्यद सुल्तान मिस्बाही ने एक डेलिगेशन के साथ मुलाकात कर मुस्लिम मआशरे की तरक्की और तालीम को लेकर बातचीत हुई थी। पीएम मोदी मुल्क के सभी मआशरे को साथ लेकर चलना चाहते है, यही वजह है कि ख्वाजा गरीब नवाज के दरबार में ‘सबका साथ, सबका विकास’ की कामयाबी के लिए दुआएं की गई। उन्होंने बताया कि जल्द ही मुस्लिम तंजीमों का एक डेलिगेशन पीएम मोदी से मुलाकात कर वक़्फ बोर्ड की खुर्दबुर्द आराजी (जमीन) को भूमाफियाओं के कब्जे खाली कराने समेत वक़्फ जायदाद की हिफाजत की मांग की जाएगी। इसके अलावा वक़्फ की आमदानी से सूफी दरगाहों और खानकाहों पर अकीदतमंदों के लिए हॉस्पिटल, ताअलीमी इदारे, हॉस्टल सहित दीगर तरक्कीयाती काम कराने की मांग की जाएगी। अल्ताफ रजा कादरी के साथ मुफ़्ती मोहम्मद सुल्तान रजा नूरी बहराइच यूपी भी मौजूद थे।